Kendriya Vidyalaya Teacher केंद्रीय विद्यालय में शिक्षक बनने की संपूर्ण प्रक्रिया, यहाँ देखें

By Bssenior Secondary School

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देशभर में लगभग 1200 से अधिक केंद्रीय विद्यालय की स्थापना हो चुकी है, और केंद्रीय विद्यालय भारत सरकार के मानव संसाधन विकास मंत्रालय के अंतर्गत चलाया जाता है, इन विद्यालयों में शिक्षक उन छात्रों को पढ़ाते हैं, जिनकी माता-पिता केंद्रीय सरकारी विभागों में नियुक्ति पर है, जैसे केंद्रीय मंत्रालय इंडियन आर्मी/ रेलवे इत्यादि। केंद्रीय विद्यालयों में शिक्षकों की नियुक्ति के लिए एक निर्धारित प्रक्रिया होती है। केंद्रीय विद्यालय में नियुक्त होने वाले शिक्षण केंद्र सरकार के अधीन होते हैं, उनका चयन परीक्षा इंटरव्यू और मेरिट के आधार पर किया जाता है, तथा उनकी नियुक्ति देश पर में बने किसी भी केंद्रीय विद्यालय में हो सकती है। केंद्रीय विद्यालय में शिक्षक को स्तर नौकरी और पदोन्नति के अच्छे अवसर मिलते हैं।

केंद्रीय विद्यालय में शिक्षक द्वारा CBSE पाठ्यक्रम के अनुसार पढ़ाया जाता है, शिक्षक के साथ-साथ छात्रों के व्यक्तित्व विकास, अनुशासन और संस्कृति गतिविधियों में भी योगदान देते है, केंद्रीय विद्यालय में शिक्षक को अनेक प्रकार के स्तर में बांटा गया है, जिसमें सबसे कम स्तर के शिक्षक एक से पांचवी क्लास के बच्चों को पढ़ाते, तथा मध्यम स्तर के शिक्षक 6 से दसवीं तक के बच्चों को पढ़ाते हैं जबकि सबसे ऊपर स्टार के शिक्षक 11वीं एवं 12वीं कक्षा के बच्चों को पढ़ाते हैं। इन शिक्षकों का स्थानांतरण भारत के किसी भी भाग में बने केंद्रीय विद्यालय में हो सकता है।

केंद्रीय विद्यालय शिक्षक के पद

केंद्रीय विद्यालय संगठन में शिक्षक के पदों को कई भागों में बांटा गया है, जो निम्नलिखित हैं :-

1. प्राथमिक शिक्षक :-  यह शिक्षक विशेष कर से विद्यालय के सबसे छोटे कक्षा के बच्चे जैसे पहली कक्षा के बच्चों से लेकर प5वी क्लास के बच्चों को पढ़ते हैं। इस स्तर के शिक्षक को प्राइमरी टीचर अर्थात PRT कहा जाता है।

2. स्नातक शिक्षक :-  इस स्तर के शिक्षक की विशेषज्ञ ता विषय आधारित होती है, जैसे गणित विषय/ विज्ञान विषय/ हिंदी विषय तथा इंग्लिश विषय। यह शिक्षक कक्षा 6 से 10वीं तक के बच्चों को पढ़ाते है। इन शिक्षकों को सेकंड ग्रेड शिक्षक कहा जाता है।

3. स्नातकोत्तर शिक्षक :-  यह शिक्षक विद्यालय के सबसे प्रमुख शिक्षक होते हैं और उनके द्वारा कक्षा 11 एवं 12वीं क्लास के छात्रों को पढ़ाया जाता है, इन शिक्षकों को अपने एक विशेष विषय के बारे में गहरी समझ और विशेषज्ञता होती है। इन शिक्षकों को लेक्चर भी कहा जाता है। साधारण भाषा में करें तो इन शिक्षकों को फर्स्ट ग्रेड शिक्षक कहा जाता।

4. विशेष शिक्षक :-  इन शिक्षकों को विशेष टीचर कहा जाता है, जिसे मैं विशेष विषय क्षेत्र कैसे संगीत कला शारीरिक शिक्षा आदि के बारे में संपूर्ण ज्ञान होता है। और उन्हीं के रूप में इनकी नियुक्ति की जाती है।

Kendriya Vidyalaya Teacher

केंद्रीय विद्यालय में शिक्षक हेतु पात्रता मापदंड

1. प्राथमिक शिक्षक (PRT) :- 

  • इस स्तर के शिक्षक की अधिकतम आयु सीमा 30 वर्ष तक रखी गई है।
  • सरकारी नियम अनुसार आरक्षित वर्गों को अधिकतम आयु सीमा में छूट मिलेगी।
  • मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से न्यूनतम 50% अंकों के साथ 12वीं पास एवं 2 वर्षीय डिप्लोमा (D.El. Ed) या बी.एड।
  • इसके साथ प्राथमिक शिक्षक पद के लिए केंद्रीय शिक्षक पात्रता परीक्षा (CTET) भी उत्तीर्ण होना अनिवार्य है।

2. स्नातक शिक्षक (TGT) :- 

  • स्नातक शिक्षक के लिए अधिकतम आयु सीमा 35 वर्ष रखी गई है।
  • आरक्षित वर्गों को अधिकतम आयु में छूट दी जाती है।
  • इन शिक्षकों की शैक्षणिक योग्यता संबंधित विषय में ग्रेजुएशन डिग्री रखी गई है, संबंधित विषय जैसे बीए बीएससी बीकॉम इत्यादि हो सकते हैं।
  • केंद्रीय विद्यालय की परीक्षा या CTET पास होना अनिवार्य है।

3. स्नातकोत्तर शिक्षक (PGT) :- 

  • इस स्तर के शिक्षकों की अधिकतम आयु सीमा 40 वर्ष तक निर्धारित है, तथा आरक्षित वर्गों को आयु सीमा में छूट मिलेगी।
  • स्नात्तकोत्तर शिक्षक को पोस्ट ग्रेजुएट शिक्षक कहा जाता है, उनकी शैक्षणिक योग्यता संबंधित विषय में पोस्ट ग्रैजुएट डिग्री या बीएड डिग्री होनी आवश्यक है।
  • इस शिक्षक पद के लिए भी CTET पास होना अनिवार्य है।

4. विशेष शिक्षक ( special teacher) :- 

  • इस प्रकार के शिक्षकों की शैक्षणिक विशेष कर इस विषय में डिग्री या डिप्लोमा निर्धारित किया गया है जिसमें वह पूर्ण रूप से निपुण है, इस श्रेणी में वे शिक्षक आते हैं जो संगीत कला या शारीरिक शिक्षक होते हैं। इसलिए इन्हें स्पेशल टीचर कहा जाता है।

केंद्रीय विद्यालय शिक्षक की चयन प्रक्रिया

केंद्रीय विद्यालय में शिक्षकों का चयन हेतु सबसे पहले विज्ञापन जारी होता है, उसमें पद पात्रता और परीक्षा की जानकारी दी जाती है, उसके बाद आवेदन फार्म भरे जाते हैं, फिर प्रवेश पत्र जारी करके लिखित परीक्षा का आयोजन करवाया जाता है, लिखित परीक्षा में चयन होने के बाद अभ्यर्थियों को साक्षात्कार के लिए बुलाया जाता है, साक्षात्कार के चयनित होने वाले अभ्यर्थियों को दस्तावेज सत्यापन हेतु सूचना दी जाती है संपूर्ण प्रक्रिया होने के पश्चात फाइनल मेरिट सूची जारी करके शिक्षकों का चयन किया जाता है, चयनित उम्मीदवारों को प्रशिक्षण कार्यक्रमों से गुजरना होता है।

केंद्रीय विद्यालय शिक्षक वेतन और अन्य सुविधाएं

केंद्रीय विद्यालय में चयनित होने वाले शिक्षकों का वेतन भारत सरकार के वेतन के अनुसार होता है, प्रारंभिक वेतन सातवें वेतन आयोग के अनुसार होता है जिसमें कहीं वह भत्ते शामिल होते हैं, प्राथमिक शिक्षक का अनुमानित वेतन ₹50000 से लेकर ₹60000 प्रति माह तक हो सकता है, स्नातक शिक्षक का अनुमानित वेतन ₹50000 से लेकर ₹65000 अनुमानित होता है, जबकि पोस्ट ग्रेजुएट टीचर का अनुमानित वेतन ₹55000 से लेकर ₹17000 प्रति माह तक होता है और विशेष अर्थात स्पेशल टीचर की सैलरी 50000 से लेकर ₹60000 प्रति माह तक होती है।

इन विद्यालयों में शिक्षक को अन्य सरकारी सुविधा भी प्रदान की जाती है जैसे मेडिकल लाभ,  पेंशन योजना और लंबी छुट्टियां। एक अच्छे कार्य वातावरण और सहायक प्रशासनिक संरचना के साथ शिक्षा का कैरियर बेहतर बनता है, केंद्रीय विद्यालयों में शिक्षक को स्थिर नौकरी और पदोन्नति के अच्छे अवसर मिलते हैं।

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